ज्यादातर लोग किसी न किसी यौन कमजोरी (nightfall) से परेशान रहते हैं।
इस हिंदी लेख में हम उन्हीं में से एक नाईट फॉल की समस्या के बारे में बात करेंगे।
जैसे कि क्या है नाईट फॉल की प्रॉब्लम होने का कारण और इसे कैसे रोकें?
अक्सर कुछ लोगों के दिमाग में यह प्रश्न होता है कि क्या स्वप्नदोष से कमजोरी आती है?
या क्या नाईट फॉल हमारे यौन जीवन को प्रभावित कर सकती है?
तो आज हिंदी लेख में हम नाईट फॉल से जुड़े सभी प्रश्नों के उत्तर देने का प्रयास करेंगे।
इसके अलावा बतायेंगे कि स्वप्दोष के नुकसान क्या हैं?
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नाईट फॉल क्या है? (Nightfall kya hai?)
साधारण भाष में डिफाइन करें, तो नाईट यानी रात। और फॉल यानी गिरना।
जिसका मतलब यह निकला कि किसी चीज का रात में गिरना।
फिर आप तो जानते हैं कि नाईट फॉल रात को ही होता है।
जिससे यह समझा जाता है कि रात में वीर्य का गिरना व निकल जाना।
इसलिए इसे नाईट फॉल नाम दिया जा सकता है।
जोकि पुरूषो में होने वाली एक आम समस्या है।
अब आयुर्वेदानुसार समझें कि नाईट फाल क्या है? या स्वप्नदोष क्या है?
तो बता दें कि नींद में सोये हुए होने के कारण, बिना काई शारीरिक क्रिया किए ही।
यानी बिना कोई रिलेशन बनाये ही, वीर्य स्खलित (ejaculate) हो जाना। जिसे स्वप्नदोष कहते हैं।
विस्तार से बतायें क्या होता है नाईट फॉल?
दरअसल, होता ये है कि जब कोई व्यक्ति सारा दिन बुरे विचार या किसी सुंदर स्त्री की कल्पना करता रहता है।
तो इस स्थिति में रात को नींद में स्वप्न भी ऐसे ही चलते रहते हैं।
व्यक्ति जो काम दिन में जागते हुए नहीं कर पाया था।
वही काम वह रात को नींद में सपने में करने लगता है।
जैसे कि खुद को किसी स्त्री के साथ संभोग करते हुए देखता है।
जिसके कारण उत्तेजित होने के कारण, उसका स्खलन नींद में सोते हुए ही हो जाता है।
स्वप्नदोष के कारण बतायें? (Swapandosh ke karan)
नाईट फॉल होने के कई कारण हैं जैसे :- खराब लाइफ स्टाइल, अनहेल्दी डाइट और बुरी आदतें। नीचे कुछ नाईट फॉल के खास कारणों पर चर्चा की गई है।
हार्मोनल असंतुलन
कई बार बॉडी में स्पर्म काउण्ट जरूरत से ज्यादा बढ़ जाता है,
जिससे सेक्सुअल हार्मोन्स अनबैलेंस्ड होने लगते हैं।
इस कारण से भी युवा पुरूषों में नाईट फॉल की समस्या की संभावना बढ़ जाती है।
कामेच्छा को दबाना
नाईट फॉल की एक खास वजह यह भी होती है।
आपके मन और तन में कामेच्छा जोर मार रही होती है। यौन इच्छा जाग जाती है।
लेकिन उस समय यौन सुविधा मौजूद ना होने के कारण, आपकी यौन इच्छा अधूरी रह जाती है।
यानी अविवाहित होने व कोई स्त्री का साथ ना मिल पान के कारण।
आपकी यौन तृप्ति नहीं हो पाती। इसलिए नींद में कामुक स्वप्न आते हैं और नाईट फॉल हो जाता है।
ज्यादा मास्टरबेशन
हद से ज्यादा हस्तमैथुन करना भी, स्वप्नदोष की संभावना को बढ़ाती है।
दरअसल पुरूष के पुरूषांग की नसें, मस्तिष्क से जुड़ी होती हैं।
इस स्थित में जब कोई पुरूष बहुत ज्यादा मास्टरबेशन (हस्तमैथुन) करता है।
तो पुरूषों के प्राइवेट पार्ट की नसें कमजोर होने लगती हैं।
जिसके कारण दिमाग अपनी कंट्रोल पॉवर को खोने लगता है।
या यूं कहें कि नियंत्रण शक्ति कम होने लगती है।
ऐसे में बिना इच्छा के स्खलन यानी नाईट फॉल के चांसेज बढ़ जाते हैं।
अश्लील विचारों की अधिकता
युवा लड़कों में, जो 15 से 20 या 25 की उम्र के लड़के होते हैं।
उनके शरीर में हार्मोन बदलवा हो रहे होते हैं।
जिसके कारण उनकी बॉडी में हार्मोन्स की मात्रा बहुत ज्यादा बन जाती है।
जिसके कारण उनकी कामेच्छा की जिज्ञासा भी बढ़ जाती है।
जिसे शांत करने लिए वो अश्लील वीडियो, सेक्सी कहानियाँ या पोर्न वगैरह देखना शुरू कर देते हैं।
इन सबके कारण उनकी सेक्सुअल डिजाइर बढ़ी हुई रहती है।
ये सारी बातें उनके अवचेतन मन में विचरण करती रहती हैं।
लेकिन जब वे नींद में होते हैं, तो यही अवचेतन मन जाग जाता है।
और सपनों में ही अपनी यौन इच्छा को पूरी करने लगता है। इसीलिए वीर्य स्खलित हो जाता है।
नाईट फॉल कितनी उम्र तक होता है? (Nightfall kitani umar tak hota hai?)
एक्स्पर्ट्स स्टडीज़ बताती हैं कि नाईट फॉल की प्रॉब्लम, ज्यादातर युवा वर्ग में पाई जाती है।
ज्यादातर मामलों में यह आंकड़ा 20 से 25 की उम्र से पूर्व का था।
कुछ मामलों में यह प्रॉब्लम, ज्यादा उम्र के कुंवारे पुरूषों में थी।
इसके अलावा इसमें बेहतरीन चरमसुख ही इच्छा रखने वाले पुरूष भी सम्मिलित थे।
जिन्हें बॉडी रिलेशन के टाइम बढ़िया चरमसुख नहीं मिल पाया था।
हमारा नियंत्रण हमारे मन की उत्तेजित भावनाओं पर कमजोर पड़ जाता है।
इसलिए जब नींद में उत्तेजना व वासनायुक्त स्वप्न आते हैं, तो हम अपना यौन इन्द्रियों पर नियंत्रण खो देते हैं।
जिसके कारण सोते हुए ही वस्त्र में वीर्य स्खलित हो जाता है। साथ ही चरमसुख भी हासिल हो जाता है।
होता क्या है कि, नींद में हम अपनी अपनी फिलिंग्स पर कंट्रोल नहीं कर पाते हैं।
क्या नाईट फॉल से शरीर कमजोर हो जाता है?
बता दें कि यूं तो नाईट फॉल एक नॉर्मल बॉडी प्रोसेस है।
यानी जब अंडकोष में वीर्य की मात्रा ज्यादा जमा हो जाती है।
इस स्थिति में हमारा शरीर खुद से स्वप्नदोष के माध्यम से वीर्य को स्खलित करा कर।
नया वीर्य धारण कर लेता है। जो कि महीने में 1 या 2 बार होना ठीक है।
इसके चिंता करने की जरूरत नहीं है।
लेकिन वहीं अगर सप्ताह में 2 से 3 बार नाईट फॉल होने के कारण बॉडी में ढीलापन, कमजोरी आने लगती है।
बॉडी में एनर्जी क कमी होने लगती है। मैमोरी कम होने की संभावना भी रहती है।
यौन इच्छा के प्रति रूचि घटने लगती है। इसलिए ज्यादा स्वप्नदोष के कारण शरीर कमजोर हो सकता है।
आयुर्वेदानुसार, बॉडी में सबसे पहले रस बनता है। फिर आखिरी में वीर्य बनता है। इसलिए वीर्य को सबसे खास माना जाता है।
नाईट फॉल को कैसे रोके? (Nightfall kaise roke?)
- अगर आप भी नाईट फॉल की प्रॉब्लम को हमेशा के लिए बाय कहना चाहते हैं। तो इसके लिए आपको ऊपर बताये गये कारणों पर काम करना होगा। साथ ही अपनी लाइफ स्टाइल को भी ठीक करना होगा। गलत खानपान और गलत आदतों को सुधारना होगा।
- ज्यादा मास्टरबेशन और सबसे खास बात कि कामुक विचारों से दूर रहना होगा।
- इसके अलावा रेगुलर वर्कआउट और मेडिटेशन करना होगा। ताकि आपकी मैंटली कंडिशन स्ट्रॉन्ग हो सके। यौन संबंधी गतिविधियाँ कंट्रोल होती हैं। जिससे नाईट फॉल को भी कंट्रोल करने में मदद मिलती है।
- रात को सोने से हाथ-पैरों को धोकर सोयें। विचारों को शुद्ध करके ही नींद लें। अच्छा सोचें, प्रेरणात्मक किताबें पढें, ताकि मन का शुद्धिकरण हो सके। इससे आपको अच्छी और गहरी नींद आयेगी। बढ़िया लाइफ स्टाइल और डाइट में परिवर्तन करके स्वप्नदोष को रोकने में मदद मिल सकती है।
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स्वप्नदोष में आराम के लिए जड़ी-बूटियाँ (Nightfall ki jadi butiyan)
आयुर्वेद में अश्वगंधा, शिलाजीत, केसर, गोक्षुरा, विदारी, शतावरी, जैसी अनेक आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियां है, जो स्वप्नदोष सहित अन्य सभी यौन समस्याओं के लिए लाभकारी साबित होती है। ये जड़ी-बूटियाँ स्ट्रेस मिटाकर दिमाग को शांत रखने में मदद करती है। कमजोर पड़ी नसों को मजबूती देती है तथा वीर्यवर्धक होती है। इनके मदद से यौन हॉर्मोन्स बढ़ते है। वीय की मात्रा में वृद्धि होती है। स्वप्नदोष जैसी समस्या से छुटकारा मिलता है।